योजनाएं अपार, नहीं थम रहा कुपोषण का अभिशाप

संवादसूत्र,सुलतानपुर:सरकारीस्तरपरस्वास्थ्यऔरसुपोषणसेजुड़ीयोजनाओंकीभरमारहै।प्रशासनिकस्तरपरयोजनाओंकेक्रियान्वयनकीलंबीचौड़ीफौजभीहै।बावजूदइसकेसुपोषणजमीनीस्तरतकआमजनोंकेजीवनमेंनहीउतरसकाहै।शहरीऔरग्रामीणक्षेत्रोंमेंबच्चेऔरमहिलाएंसुपोषणकेप्रतिजागरूकनहींहै।जानकारियोंकेअभावऔरसहीमार्गदर्शननमिलनेसेकुपोषणकाअभिशापनौनिहालोंकेशारीरिकविकासकेसाथमानसिकविकासमेंबड़ीबाधाबनाहै।चिकित्साक्षेत्रकेविशेषज्ञोंऔरआहारजानकारोंकीयहमान्यताहैकिस्वस्थशरीरहोगातभीस्वस्थदिमागहोगा।कुपोषणकेचलतेयहसिद्धांतजनसामान्यपरनहीलागूहोरहाहै।आर्थिकतंगीवसरकारीयोजनाओंसेकोसोंदूरअबभीजिलेकेगांवोंमेंसैकड़ोपरिवारऐसेहैं,जिन्हेंसुपोषणसेकोईखासासरोकारनहींहै।आंगनबाड़ीकेंद्रोंऔरस्कूलोंकेमाध्यमसेस्वास्थ्यऔरसुपोषणकेलिएचलाईजारहींकवायदेंऊंटकेमुंहमेंजीरासाबितहोरहीहैं।बच्चेसुपोषितहों,उन्हेंचिकित्सीयमानककेअनुरूपआहारमिले,उनकाशारीरिकऔरमानसिकविकासहो,यहसबसरकारीगतिविधियोंकीफाइलोंपरसिमटाहै।एकसे30सितंबरतकप्रस्तावितराष्ट्रीयसुपोषणअभियानमेंआमजनोंतकसुपोषणकासंदेशभेजनेकेप्रयासमेंजिलाप्रशासनकीकोशिशेंफिलहालविभागीयउत्तरदायित्वोंकीदेखादेखीमेंनिपटरहाहै।

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बालरोगविशेषज्ञडॉ.सुधाकर¨सहनेकहाकिबच्चेकाअस्तित्वमांकेगर्भमेंबननेकेसाथहीउसकेस्वस्थएवंसुखदजीवनकीनींवरखीजानीचाहिए।अभिभावकोंकीजागरूकताइसमेंबेहदप्रभावीहै।जन्मसेदोवर्षकीआयुतककेबच्चोंकेलिएमांकादूधहीसर्वोत्तमपोषकआहारहै।इसकाकोईविकल्पनहींहै।मानसिकएवंशारीरिकविकासएक-दूसरेसेजुड़ेहुएहैं।कुपोषणशारीरिकऔरमानसिकदोनोंविकासपरअसरडालताहै।डायटीशियनमंजीतनेकहाकिबच्चोंकापांचवर्षकाआरंभिकजीवनपूरेजीवनकीआधारशिलाहोतीहै।मानसिकविकासकी95फीसदीवृद्धिइन्हींपांचवर्षोंमेंहोजातीहै।ऐसेमेंबच्चोंकेखानपानऔरपोषणकेप्रतिबेहदसजगताजरूरीहै।