मनसून वर्ष क द वशेषतएँ बतइए
अस्पताल में कोरोना संक्रमण की जांच के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आठ जून को ट्रू नॉट मशीन का शुभारंभ किया था। शुभारंभ के अवसर पर उन्होंने कहा था कि इस मशीन के चालू हो जाने से कोरोना संक्रमित मरीजों को जांच के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। एक घंटे में उन्हें जांच रिपोर्ट उपलब्ध हो जाएगी। इस मशीन को चालू रखने के लिए किसी भी प्रकार के संसाधन का अभाव नहीं होने दिया जाएगा। वहीं डीएम ने ट्रू नॉट मशीन से हो रही धीमी जांच पर नाराजगी जताते हुए जांच का दायरा 10-15 से बढ़ाकर 25-30 तक करने का निर्देश दिया था। डीएम के निर्देश का भी स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदारों पर कोई असर नहीं पड़ा। उनकी जांच की प्रक्रिया वही कच्छप गति से ही चल रही थी। सूत्रों का कहना है कि केमिकल टेस्ट किट के अभाव में शनिवार से ही अस्पताल में लगे ट्रू नॉट मशीन से होने वाली जांच बंद है। इसके चलते दूर दराज से मंडलीय चिकित्सालय में कोरोना संक्रमण की जांच कराने के लिए आने वाले मरीज से लेकर तीमारदार इधर-उधर भटकने को मजबूर हैं। इस संबंध में जब जिले के कोराना प्रभारी डा. मुकेश जायसवाल से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि इसके प्रभारी एसआइसी हैं, वही कुछ बता सकते हैं। जबकि ट्रॅू नॉट के पैथॉलाजिस्ट डा. मोहम्मद अजहर सिद्दीकी से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि उन्हें जानकारी नहीं है कि क्यों जांच बंद है। 'तीन दिनों से केमिकल टेस्ट किट खत्म हो जाने के चलते ट्रू नॉट मशीन से जांच प्रभावित है। केमिकल टेस्ट किट लाने के लिए डा. अजहर सिद्दीकी मंगलवार को सुबह लखनऊ रवाना हो गए हैं। वे जब लखनऊ से उसे लेकर आ जाएंगे तो मशीन से कोरोना संक्रमण की जांच शुरू हो जाएगी।'